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PARI LOK KA SEHJADA

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Author Charu

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"इश्क़ और किस्मत के खेल में, कौन जीतेगा—एक आम लड़का या उसकी अनजानी तक़दीर?" गरीब लेकिन होनहार शौर्य स्कॉलरशिप पर शहर के सबसे बड़े कॉलेज में दाखिला लेता है, जहां उसकी मुलाकात अंजली से होती है—एक अमीर लड़की, जिसकी दुनिया उससे बिल्कुल अलग है। पहली...

Total Chapters (1)

Page 1 of 1

  • 1. PARI LOK KA SEHJADA - Chapter 1

    Words: 1719

    Estimated Reading Time: 11 min

    एक तूफानी रात में एक आदमी और औरत सड़क में हाथों में हाथ लिए भाग रहे थे ,उनके पहनावे से लग रहा था जैसे वो कहीं के राजा और रानी हो , आदमी की गोद में एक छोटा सा बच्चा था ,जो लगातार रोए जा रहा था ,तीनों की ही हालत खराब थी।


    जब उस औरत से भागा नहीं गया ,तो वह थककर एक पेड़ के नीचे बैठ गई।


    " कामिनी हिम्मत मत हारो है जल्द ही हम स्वर्णपुरी पहुंच जायेंगे ,और जैसे ही हम वहां पहुंचेंगे आपकी शक्तियां वापिस लौट आएगी ,बस आप हिम्मत मत हारो "! उस आदमी ने वापिस उसे उठाते हुए कहा।



    कामिनी आंखों में आंसु लिए एक नजर अपने बच्चे को देखती है ,और फिर एक बार फिर हिम्मत जुटाकर जैसे तैसे खड़ी होती है , और वापिस से भागने लगती है !



    एक खतरनाक साया जो उनका पीछा कर रहा था , वह बीतते वक्त के साथ उनके और करीब आ गया था , आखिरकार जब कामिनी की हिम्मत जवाब दे गई , वह नीचे बैठ गई और जोर जोर से हांफने लगी !


    "कामिनी चलो जल्दी चलो "! वह आदमी उसे उठाते हुए बोला ।


    "नहीं मोहन हमसे और नहीं भागा जाएगा , हम इस समय बहुत कमजोर हूं , आप हमारे बच्चे को लेकर यहां से चले जाओ , उसकी सुरक्षा बहुत जरूरी है , यदि उसको कुछ हो गया तो पूरी स्वर्णपुरी खतरे में पड़ जाएगी ! कामिनी ने नम आंखों से बोला।


    मोहन मना करते हुए बोला , " यह कैसी बात कर रही हो , मैं आपको छोड़कर कहीं नहीं जाऊंगा , चलो उठो और चलो "!



    अभी मोहन कामिनी को उठाने की कोशिश ही कर रहा था , की वह काला साया उनके एक दम करीब आ गया , और शैतानी हंसी के साथ बोला ," क्या हुआ ? आज राजकुमारी कामिनी बड़ी कमजोर लग रही है ? क्या आपने मुझसे हार मान ली है "!



    कामिनी मोहन की मदद से खड़ी हो जाती है , और उस साए के सामने जाकर हिम्मत जुटाकर खड़ी होकर बोली ," कलजुग हमने हिम्मत नहीं हारी है , बस हम तुम्हारी तरह कायर नहीं है , जो एक सियोली ( जिसने अभी अभी बच्चे को जन्म दिया हो) पर वार करे , तुम कायर हो इसीलिए तुमने यह समय चुना वार करने का , तुम्हे काल गुरु के बनाए किसी नियम की लाज नहीं है "!



    कलजुग जोर जोर से हँसने लगा , और उसको ऐसा हंसते देखकर कामिनी का गुस्सा बढ़ने लगा ।



    कलजुग फिर एक दम से गुस्से से कामिनी को देखने लगा , इस समय उसकी आँखें गुस्से से लाल हो चुकी थी ,और उसका चेहरा काला पड़ चुका था।



    "तुम कायर और कालगुरु के नियम की लाज की बात कर रही हो ? जिसने खुद काल गुरु के बनाए इतने बड़े नियम को तोड़ा है , अब तुम्हारा अंतिम वक्त आ गया है , पर तुमसे पहले मैं तुम्हारे पति और इस बच्चे को मारूंगा "! इतना बोलकर कलजुग जैसे ही उन पर वार करने को होता है , तो देखता है मोहन और उसका बच्चा दोनों ही वहां नहीं थे ।



    कलजुग के चेहरे में गुस्से से आग की लपटे जलने लगती है ,और वह दांत पिसते हुए बोला ," कहां गए वो दोनों , कहां छुपा दिया तुमने उन्हें "!



    कामिनी मुस्कराते हुए बोली ," तुम्हे क्या लगा था ? हमारे होते हुए तुम हमारे पति और बच्चे को नुकसान पहुंचा पाओगे ,नहीं कभी नहीं हमारे होते हुए तुम उनका बाल भी बाका नहीं कर सकते "!



    कलजुग गुस्से से जलती हुई आग का एक गोला कामिनी के ऊपर फेंकते हुए बोला ," उन्हें तो मुझसे बचा लिया पर तुमको मुझसे कौन बचाएगा "?



    आग का गोला कामिनी के ऊपर गिरा और उसकी एक चीख पूरे सुनसान जंगल और उस सुनसान सड़क में गूंज गई !




    दूर जंगल के दूसरे कोने में जब मोहन तेज आग की लपटों और कामिनी की चीखे सुनता है तो उसे किसी अनहोनी का आभास हो जाता है।




    मोहन नम आंखों से बोला ," आखिर क्यों ? आखिर क्यों आपने हमें अपना साथ नहीं देने दिया "?



    तभी मोहन का बच्चा जोर जोर से रोने लगता है , बच्चे के रोने की आवाज सुनकर मोहन खुद को संभलता है ,और जल्दी से उसे चुप कराकर जंगल से शहर की ओर भागने लगता है।



    कलजुग को जैसे ही बच्चे के रोने की आवाज आती है ,वो उस दिशा में चला जाता है।




    मोहन अभी सड़क में अपने बच्चे को लिए भाग ही रहा था कि तभी सामने से एक बड़ा सा ट्रक तेज रफ्तार से आकर उसे टक्कर मार देता है, जिससे वह बच्चा उछलकर खाई से गिर जाता है, और मोहन वहीं ट्रक के नीचे आकर दम तोड़ देता है।




    18 साल बाद ,


    "शौर्य बेटा मैं शहर जा रहूं , कल तक आ जाऊंगा , और तुम घर आकर खाना खा लेना ,और रात में जंगल की तरफ मत जाना "! एक आदमी अपना बैग उठाकर घर से बाहर जाते हुए बोला ।



    " जी बाबा आप चिंता मत करो ,आप अपना काम पूरा करके जल्दी आ जाना "! शौर्य ने अपने बाबा से कहा।



    फिर शौर्य भी नाश्ता करके घर से निकल गया , शौर्य चेहरे मे बडी़ सी स्माइल लिए अपने सामने का नजारा देखते हुए चले जा रहा था, शौर्य ने इस समय एक पुरानी सी पिंक कलर की शर्ट पहनी हुई थी, जिसका रंग उडा़ हुआ था, और एक पुरानी सी ब्लैक कलर की पेंट पहने हुए था, साथ मे उसने अपने पैरो मे पुराने जुते पहने हुए थे, जो कि कई जगह से सिले गए थे, पर वह दिखने मे बहुत सुंदर था , और गुडलुकिंग था , लेकिन शायद जितना अच्छा वो दिखता था, उतना वो अपने पहने कपडो की वजह से लग नही रहा था, फिर भी वो बहुत हैंडसम था , शौर्य कंधे मे बैग लिए पैदल अपने कॉलेज जा रहा था।




    पर तभी एक तेज रफ्तार से आती हुई कार शौर्य को टक्कर मार देती है , पर ब्रेक सही समय में ना लगने की वजह से वह गाड़ी उसके सामने आकर रुक जाती है, पर शौर्य सड़क पर गिर जाता है!



    इस हादसे से वहां बहुत भीड़ लग जाती है और वहां खडे़ सभी लोग उस कार की ओर देखते हैं, जिस कार से शौर्य की टक्कर होती है।



    भीड़ मे खडे़ लोग बाते बनाते हुए कहते है ," ये अमिर लोग सड़क मे चल रहे लोगो को कीडे़-मकोडे समझते है, जिन्हे जब दिल चाहा मसल दिया"!



    तभी भीड़ मे खडा़ दूसरा आदमी कहता है," सही कहा, अगर इनको इतना शौक है हवा मे उडने का तो हवाई जहाज उडाए ना आसमान मे, यहां सडक मे हम गरीबो को क्यो कुचल रहे है''!



    तभी कार का दरवाजा खुलता है और कार से एक खूबसूरत सी लड़की बाहर आती है, जिसने एक नी लैंथ की पिंक dress पहनी हुई थी , जिसमे उसकी खुबसूरत टांगे और खुबसूरत लग रही थी।



    जैसे ही वहां खड़े लोग उस लड़की को देखते है। एक पल के लिए उसकी खूबसूरती में खो से जाते है , उस लड़की की नीली झील सी गहरी आंखे ,उसका दूध सा दमकता हुआ रंग ,और लंबे कार्ल बाल सबको अपनी और आकर्षित के रहे थे ।



    तभी उस लड़की की आवाज से सबका ध्यान उसकी बातों में जाता है , वह लड़की कार से उतरकर रोनी सूरत बनकर नीचे बैठकर सॉरी बोलते हुए शौर्य के हाथों में हाथ रख देती है।



    उस लड़की के स्पर्श से शौर्य की बंद होती हुई आंखे खुलने लगती है ,और जैसे ही वह आंखे खोलकर उस लड़की को देखता है ,तो मानो जैसे वो वहां जम सा जाता है।



    शौर्य तो जैसे उस लड़की की खूबसूरती देख सब कुछ भूल जाता है, और उसके खुबसूरत चेहरे मे खो सा जाता है, दिल सी नीली आंखे, दूध सा गोरा रंग, गुलाबी होंठ, और लहराते हुए बाल।



    वह लड़की शौर्य के वापिस से टच करते हुए कहती है,"सॉरी सॉरी.. तुमको बहुत चोट लगी है क्या? वो मैं एक डॉग को बचाने के चक्कर मे ये सब हो गया "!

    शौर्य तो जैसे बस उसके हिलते हुए होंठों में खो सा गया था ,पर उसे उसकी कोई भी बात समझ नहीं आ रही रही।



    शौर्य को ऐसे एक तक उसे देखता देख वह लड़की और घबरा जाती है और उसे उठाने की कोशिश करते हुए बोली ," तुम बैठो मैं तुम्हें डॉक्टर पर ले जाती हूं"!



    शौर्य उस लड़की की बात का कोई जवाब नहीं देता क्योंकि वह तो बस उसकी आंखों में और उसके होठों पर खो सा गया था जो कि उसे कुछ बातें कर रहे थे, लेकिन वो बोल क्या रही थी वह उसको कुछ सुनाई नहीं दे रहा था !



    जब उस लड़की को काफी देर तक शौर्य का कोई जवाब नहीं पाती है, तो शौर्य के कंधे को हिलाते हुए कहती है," क्या हुआ कहां खो गए? तुमको चोट लगी है क्या बहुत ज्यादा? चलो मैं डॉक्टर मे ले चलती हूं"!



    उस लड़की के हिलाने से शौर्य होश में आते हुए उसकी ओर देखकर हकलाते हुए कहता है," व...व...नहीं मैं ठीक हूं, आप टेंशन मत लीजिए मुझे डॉक्टर में जाने की जरूरत नहीं है"!




    वह लड़की शौर्य के सिर मे हल्का सा खून देखकर कहती है,"नही तुम्हे चोट लगी है, प्लीज हास्पिटल चलो वरना मैं अपने आप को कभी माफ नही कर पाऊंगा"!

    उस लड़की के बहुत बोलने पर शौर्य उसके साथ कार मे बैठ जाता है, और वहां खडी़ भीड़ वहां से चली जाती है।



    शौर्य उस लड़की के साथ डॉक्टर पर जाता है और फिर पट्टी करवाता है फिर वहां से थैंक्स बोल जाने लगता है ।



    वह लड़की शौर्य को रोकते हुए कहती है," मैं तुमको छोड़ देती हूं, तुम कहां जा रहे हो"?



    शौर्य कहता है -" नही मैं चला जाऊंगा, मैं कॉलेज में एडमिशन कराने के लिए जा रहा हूं "!


    "कौन सा कॉलेज"? उस लड़की ने पूछा।


    शौर्य कहता है," M.N College of management".


    वह लड़की शौर्य के मुंह से उस कॉलेज का नाम सुनकर शौक हो जाती है, क्योंकि शौर्य एक सिंपल सा पुराने कपड़ों में गरीब सा दिखने वाला लड़का होता है और वह कॉलेज अमीरों का कॉलेज होता है ।



    वह लड़की शौर्य से पूछती है," वैसे तुम्हारा नाम क्या है"?


    शौर्य उस लड़की से कहता है,"मेरा नाम शौर्य मिश्रा है"!

    "और तुम्हारा "?


    उस लड़की मुस्कराते हुए कहती है," मेरा नाम अंजली मित्तल है, और मैं आकाश मित्तल की बेटी हूं"!


    अंजली की पहचान जानकार शौर्य हैरान रह गया!