कहते है मोहब्बत रूह से की जाए तो वो मर के भी अमर हो जाती है, कहते है, हमारा शरीर तो मर जाता है लेकिन हमारी रूह हमेसा इसी यूनिवर्स मे घूमती रहती है, भटकती रहती है, वामपंर, पिसाच, चुड़ैल,भूत, ब्रम्हरक्छास तो सुना ही होगा, कहते है, ऊपर वाले नें फरिश्तो क... कहते है मोहब्बत रूह से की जाए तो वो मर के भी अमर हो जाती है, कहते है, हमारा शरीर तो मर जाता है लेकिन हमारी रूह हमेसा इसी यूनिवर्स मे घूमती रहती है, भटकती रहती है, वामपंर, पिसाच, चुड़ैल,भूत, ब्रम्हरक्छास तो सुना ही होगा, कहते है, ऊपर वाले नें फरिश्तो को हवा से, इन्शान को मिट्टी से, और जिन को आग से बनाया है, वो आग जिसमे इतनी तपिश होती है जो किसी को भी जाला के खाख मे तकदील कर दे, लेकिन क्या हो ज़ब एक जिन, मामूली जिन भी नहीं जिनो का बादशाह किसी इन्शानि रूह के पीछे पागल हो जाए तो?? सदियों पुरानी मोहोब्बत को पूरी करने आ रहा है "आलियार" कौन है इसकी मोहोब्बत?? और क्यों करता है ये अपनी ही मोहोब्बत से इतनी नफरत??
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अरब देश जिन्हे आज कई हिस्सों मे बाट दिया गया हैं, जहा रेगिस्तानी रेत दिन मे तप्त हुआ रेत और रात मे सीतलता का प्रतिक जहा रहना मुश्किल हुआ करता था लेकिन फिर भी इन्शान वहा रहते थे। माना जाता हैं की अरब अल्लाह की देन हैं मोहोम्मद पैगम्बर हमारे नबी नें वही जनम लिया था और लोगो को हिदायत (सिख) प्रदान किया था। उन्होंने ही बतया था की फरिस्ते हवा, इन्शान मिट्टी और शैतान जीन जिन्नाद आग से बने हैं, इंसानो को रहने के लिए जमीन मिली वही पाक दिल फरिस्तो को आश्मन लेकिन जिनो को जहनुम और दोश्क की आग मिली कभी कभी कुछ जगह पेरानार्मल चीज़े होती हैं कुछ लोग कहते हैं जीन, भूत, रक्छास, वैम्पार, अल्फाहा वोल्फ ये सब कुछ नहीं होता लेकिन कुछ लोग इसे जितना मानते हैं उतना ही इसपर पढ़ते हैं हमारी साइंस भी कहती हैं की पॉजिटिव एंड नेगेटिव दोनों तरह की एनर्जी इस यूनिवर्स मे मौजूद हैं ये कहानी भी कुछ इनी सब पर हैं दुनिया बहुत बढ़ी हैं और हम इस दिनिया के एक छोटे से गुमनाम रेत के कड़ हैं। वैसी ही ये कहानी लिखी तो नजाने कब गई थी लेकिन बदलते दुनिया मे गुमनाम मुसाफिर की तरह गुम हो गई आइये हम साथ मिलकर इस कहानी के एक एक पन्ने पर दस्तक देते हैं इसके राज को खोलते हैं और पढ़ते हैं सूरज की लालिमा और आजाना का का वक्त हो चला था पाक परिंदे अपने घोषले छोड़ सलामी देने निकल पढ़े थे। हर तरफ आजाना की आवाज़ आती उसी शोर मे रियाद की रेत पर एक 12 फूट से भी ऊंचा शख्श नमाज़ पढ़ रहा था। नमाज़ ख़तम होते ही वो उठता हैं और तभी कोई उसे आवाज़ देता हैं बादशाह ए जीन रुकें तभी वो जीन अपने रफतार मे वहा से उड़ निकल जाता हैं और जो शख्श उसके पीछे था वो बस उसे पुकारता रह जाता हैं। वो 12 फुटिया शख्श घूमते हुए एक बाजार को देखता हैं। जहा पर सोने की बिकारी हो रही थी और साइड मे एक बार था वही पर concert show चल रहा था। वो शख्श उसमे अपना हाइट छोटा कर घुस जाता हैं। और एक्सपेंसिव न्यू मॉर्डन ड्रेस मे आ जाता हैं। वो जैसे ही concert मे घुश्ता हैं। सबके ऊपर वो एक आकर्षण बना लेता हैं। सब लड़किया उसे ही देख रही थी। ऐसा लग रहा था, जैसे वो कोई सेलिब्रिटी हो। गोरा रंग, जेल से सेट किये हुए ब्राउन एंड ब्लैक हेयर, काली और भूरी आँखे फुल वियड v-shap फेस, घनी पलके, ऊंचा लम्बा कद 6'3 का, v-shap मशक्युलर बॉडी, 3 पीस ब्लैक सूट मे वो शख्श नजाने कितने दिलो को बस अपनी एक झलक से जीत चूका था। वो शख्श एक साइड बार कार्नर मे जा कर बैठ जाता हैं। और हो रहे डांस को देखते हुए जाम का मज़ा लेने लगता हैं। थोड़ी ही देर मे वो भी स्टेज पर जा उन सब लड़कियों के साथ डांस करने लगता हैं। तभी एक सुंदर लड़की डांसर ड्रेस पहन जिसके फेस पर मार्क्स था कमर पतली नागलिन जैसी बाल खाती हुई उसपर कमर बंद, आँखो मे काजल सुरमा, बाल खुले हुए थे उसके गोरा दूधिया शरीर उस शख्श के पास आकर उसके ऊपर उसको छूते हुए डांस करने लगती है Song name :- manohari by bahubali तभी उस शख्श को डांस करते हुए एक दुशरा आदमी दीखता हैं जिसकी आँखो की चमक बकी सब इंसानो से अलग थी। वो आदमी उसे देख वहा से चला जाता हैं। और उसके पीछे वो शख्श भी उसे ढूढ़ते हुए चला जाता हैं काली अधेरी रात मे एक घुफ के अंदर जाला सिर्फ एक छोटी सी मसाल जाल रही थी वही पर एक आदमी जिसकी परछाई बहुत बढ़ी दिख रही थी। काला लबाश पहने सर ढकी हुई थी तभी पीछे से वही शख्श आता हैं और बोलते हुए कहता हैं_ क्या मसला हैं?? तभी वो आदमी पीछे घूम उसके सामने अपने दोनों घुटने के बाल बैठ बोलता हैं_ बादशाह सलामत रहे। तभी वो शख्श बस hmm मे जवाब देता हैं। तब वो आदमी ऊपर उठ अपनी नज़ारे झुखाए बोलता हैं_ बादशाह ए जीन जीन ए अम्मी नें आपको याद किया हैं वो चाहती हैं की आप उनसे आकर मिले। तभी जीन ए बादशाह बोलता हैं_ अम्मी से बोलो की हम जहनुम नहीं आ रहे ज़ब हमारा दिल करेगा हम तब आएंगे ये कह के वो वहा से जाने लगता हैं तभी वो आदमी दुबारा बोलता हैं_ बादशाह लेकिन आशमान से फरमान जारी हुआ हैं की काला जीन जो 1000 साल से सोया हुआ था वो जागने वाला हैं। इसी लिए मलिका नें आपको याद किया हैं। तभी वो शख्श बोलता हैं_ हम काले जीन डरते मुकारीद, काले जीन को हमसे डरना चाहिए, क्युकी हम कौन हैं और क्या हैं ये सब जानते हैं। लेकिन फरिश्तो नें कहाँ हैं की काला जीन खौफ का दूसरा पैगाम हैं। तभी वो शख्श बोलता हैं_ पूरी दुनिया जानती हैं बादशाह ए जीन से जादा ताकतवर इस दुनिया मे कोई नहीं हैं फरितो के मालिक भी नहीं बेशक़ काला जीन बुरी ताकतों से बना हुआ एक आवल शैतानी ताकत का जीन हैं लेकिन हम हमारे अंदर काली ताकतों के साथ फरिस्तो की भी ताकत हैं ये कोई ना भूले ये बोलते हुए उसके होंठ खींच गए थे। और ये बोल वो शख्श वहा से चला जाता हैं वही वो आदमी जिसका नाम ही मुकरीद (वहादर) था वो बुधबूधाते हुए बोलता हैं_ आप ताकत वर जरूर हैं लेकिन काला जीन आप से उमर और अकल दोनों मे बढ़ा हैं बादशाह ए जीन कभी कभी तो लगता हैं, कही हम सब का फेसला गलत तो नहीं था। 😞😞 और वो बढ़े दुखी मन से वहा से गायब हो जाता हैं। समरकंद, उज़बेकिस्तान रात का वक्त 2 बजे एक 3 BHK फ्लैट के रूम मे एक लड़की सोई हुई थी, उसके कानो मे कुछ आवाजे आ रही थी। मैंने तुमसे बेइंतहा मोहोब्बत की थी और तुमने मुझे धोका दिया दिया फरेब किया मेरे साथ, इस जनम से लेकर अगले हर जनम तक मै तुम्हारा पीछा करुगा याद रहे ये रोज जिस्म से जुदा होंगी लेकिन ये रूह हमेसा तुमको ही ढूढ़ेगा, एक लड़के की मरती हुई आवाज़ उस लड़की के कानो मे गूंज रही थी। तभी वो लड़की नींद मे बढ़बाढ़ते हुए बोलती हैं_ नहीं मैंने कुछ नहीं किया था, गलती तुम्हारी थी मै तुमसे बहुत नफरत करती हूँ I hate you, I hate you I hate you more more more than helll plz don't don't donnnnnn'ttttt इतना बोल वो लड़की कश के चीखते हुए उठ जाती हैं। वो लड़की जैसे उठती हैं। अपने बिखरे पसीने से भरे बाल समेटती हैं। उसे देख ऐसा लग रहा था। जैसे उसके लिए ये सब normal हो। वो लड़की उठ अपने बगल मे पड़ा पानी का glass उठा के पीती हैं और normal होते हुए बोलती हैं_ उफ्फ्फ्फ़ ये मूवी ड्रीम्स भी न कहाँ था। मेहेर को की मुझे हॉरर मूवीस देखने के बाद उसी की तरह ड्रीम आने लगते हैं। लेकिन ये लड़की कभी नहीं मानती फिर एक लम्बी सास ले कर दुबारा सो जाती हैं। सुबह 10 बजे एक लम्बी उबाशी के साथ वही लड़की अंगाड़ाई लेते हुए उठती हैं। उसके बाल की लटे उसके फेस पर आ रही थी इस वक्त वो हासीन नवजावान देखने मे जानत की परी लग रही थी। दुनिया जहा की मासूमियत उसके चेहरे पर थी। तभी उसके दो छोटे bhai आकर बोलते हैं बाजी बाजी उठ गए आप 😊 good morning तभी वो लड़की अपने भाइयो को उन्हें गले लगते हुए बोलती हैं_ हा अरशलन, नौशीन बच्चा हम उठ गए आप दोनों भी जाओ रेडी हो जाओ यूनिवर्सिटी और कॉलेज नहीं जाना हैं?? तभी वो दोनों बोलते हैं_ नहीं नहीं बाजी हम जा रहे वो तो अम्मी आपको बुला रही थी। आप दोनों चले मै आती हूँ 😊 इतना बोल और एक स्माइल पास कर वो लड़की अपने भाइयो को भेज देती हैं। थोड़ी देर बाद वो लड़की बाथरूम मे थी उसके जिस्म पर गरम पानी के बूंधे गिर रही थी और उसका हुस्न हिरे की तरह चमक रहा था। 5'5 की हाइट, काली जुल्फेहे, भूरी आँखे, पतली नाक, पतले होंठ, बढ़ी लम्बी गहरी आख़र, सुराही जैसी पतली नाक, और गोरा मखममी फूल जैसा नाजुक बदन, वो लड़की सावर ऑफ कर जल्दी से टॉवल ले कर अपने आप को लपेट लेती हैं। और बाथरूम से बाहर निकल जाती हैं अपने आपको मीरर मे देख बोलती हैं_ haaayeee ये घुलबदन हुस्न मेरा और देख अपने मे ही हाश देती हैं। तभी उसे एक चिलाती हुई आवाज़ सुनाई देती हैं। रौशनी रौशनी जल्दी आओ बेटे नास्ता कब का रेडी हैं। बस तुम्हारा ही wait हैं और कितना टाइम लगाओगी? उनकी आवाज़ सुन वो लड़की जिसका नाम रौशनी था वो बोलती हैं_ जी आमी आते हैं। बस 5 मिनट इतना बोल वो अपने निकाले हुए कपड़े जल्दी जल्दी पहनने लगती हैं? thank you support krna aap sbhi new noval hai and agr ye aap behetr gya to mai issi pr sari story publish kar dugi aur mistakes ko dhyan nhi dena maire pyare readers 🤗🤗 aapki Siya
अब आगे... जंगले-ए-जीन काली अधेरी जगह जहा पर सिर्फ अंधेरा ही अधेरा रहता हैं, सुनसान जगह ऐसा लग रहा था जैसे यहाँ कोई आता जाता ही ना हो परिंदे के नाम. पर चमकादढ़ भी यहाँ नहीं थे। चाँद की रौशनी कोशो दूर सूरज की किरण जैसे कभी पढ़ी ही ना हो लम्बे लम्बे उच्चे उच्चे बांश के पेड़, वही पर एक शख्श जो काफी डरा हुआ लग रहा था उसके हाथो मे एक जलता हुआ जीराग था जिसमे से रौशनी बरामद हो रही थी। उस शख्श का लिबास भी पूरा काला था और ऊपर से एक टोपी थी। जिस से उसका चेहरा छुपा हुआ था। उस शख्श के पैर काप रहे थे नजाने क्यों लेकिन यहाँ पर खौफ का मातम छाया हुआ था। वो शख्श डरते डरते उस जंगल से होते हुए निकल ही रहा था की उसका पाव पहिशाल जाता हैं। और वो गिर जाता हैं। उसके गिरते ही उस चिराग मे से एक धुआँ निकलता हैं और उस शख्श से भारी अजीब आवाज़ मे बोलता हैं_ चले जाओ यहाँ से वरना मारे जाओगे इतना बोल वो धुआँ कही गायब सा हो जाता हैं। वो शख्श उठता हैं और अपने आप से ही बोलता हैं_ जो उसका ख्याल करता हैं उसे जन्नत जहनुम मे भी मिल जाता हैं। और मै तो उसे जगगागागा!!!! इतना बोल वो चुप हो जाता हैं। और बिना मसाल रौशनी के वो ऐसे ही आगे बढ़ने लगता हैं। जैसे ही वो 4 कदम चला था उसके पैरो मे कुछ चिपचिपा सा लगने लगता हैं वो निचे देखता हैं तो वो खून था खून भी लाल नहीं काला था। फिर वो अपना सर ऊपर करके देखता हैं_ तो उसे आश्मन भी अब काला नजर आता हैं। ये सब देख कर उसकी सिट्टी पिट्टी ही गुल हो गई थी। लेकिन फिर भी वो अपने डर का घुट निगलता हैं और आगे बढ़ जाता हैं। आगे बढ़ते हुए जंगले ख़तम हो जाता हैं लेकिन रौशनी का कोई नमो निशान नहीं था। तभी वो शख्श अपने मन मे बोलता हैं_ किताब मे तो लिखा था जंगल ख़तम हो गी तो जीन मिलेगा और रौशनी दिखेगी पर यहाँ तो ऐसा कुछ भी नहीं हैं। तभी उसे एक गुफा दिखाती हैं जहा से रौशनी आ रही थी। वो शख्श उस गुफा की तरफ बढ़ जाता हैं। उस गुफा मे पहुंचते ही वहा का नज़ारा देख उसके रोगते तक खड़े हो जाते हैं। वहा पर लाखो के तगात मे फरिस्ते, जीन, जिन्नत, परी, मारे हुए बंधे हुए थे। सबका शरीर काला रंग का था और जो रौशनी आ रही थी वो इनके शरीर से आ रही थी। तभी वो शख्श अपने दूसरी तरफ देखता हैं तो डर के मारे चिल्ला देता हैं हाआआआआ उसकी आवाज़ से लाखो जीन उठ जाते हैं, और वो शैतान भी जिसका ये बशेरा था। 50 फूट का एक काला कपड़ा पहने जीन उठता हैं, और उसके तरफ बढ़ने लगता हैं, तभी वो शख्श बोलता हैं_ देखो मुझे सब पता हैं तुम वो नहीं जिसके लिया मै यहाँ आया हूँ। देखो मै तुम्हारे मालिक को जगाने की पूरी कोसिस करेंगे। लेकिन उसकी सारी बाट वो 50 फुटिया जीन अनसुनी कर उसके तरफ बढ़ ही रहा था तभी वो शख्श कुछ बोलने लगता हैं_ जीन ए कामिल अमरे खुसामदिद परवाना चीरागोसी सलामत जीन ए सियाह उसने इतना बोला ही था की वो 50 फुट का जीन रूक के अपने पीछे देखने लगता हैं। तभी वो शख्श बार बार इसी अल्फाज़ को धोहोराने लगता हैं। वो 50 फूट का जीन अब उस शख्श को रोकते हुए बोलता हैं_ ये मत करो वो जगा तो सबको सुला देगा, क़यामत आ जाएगी तीनो जाहान खतरे मे पढ़ जायगा, तभी सबको एक परछायी दिखाती हैं। जो बहुत बढ़ी थी सी थी। 100 फूट का एक रक्छास से भी भयानक दिखाने वाला जीन दीखता हैं जिसने जीन लिबास पहना हुआ था। तभी उसके चलने की आवाज़ सुनाई देने लगती हैं। थम.. थम... थम.. वो दोनों जीन उस तरफ देखते हैं जिस तरफ से आवाजे आ रही थी। तभी उनको एक 100 फूट का जीन दिखता हैं उसे देख सबके छखे छूट जाते हैं डर से पैर कापने लगता हैं। वो 50 फुटिया जीन वहा से भागने की कोसिस करता ही हैं की वो 100 फुट का जीन उसे दबोच लेता हैं। और अपने लम्बे नाख़ून से उसके गर्दन पर पर वार करता हैं और दुशरे हाथ का नाख़ून उसके गर्दन मे घुसा देना हैं, और उसके शरीर से निकल रहे खून को पिने लगता हैं ये नज़ारा इतना खौफ नाक था की कोई भी देख ले तो जिन्दा मर जाए समरकंद, एक लड़की बस स्टैंड के पास खड़ी हो कर बस का wait कर रही थी। वो बार बार अपने घड़ी को देख रही थी। तभी एक लड़का अपने कार से आता हैं और उसे देख फ्लिर्टी अंदाज़ मे पूछता हैं_ क्या मेरे साथ घर जाना पसंद करोगी miss cutie, वो लड़की उस लड़के को एक नज़र देख थोड़ी दूर जा कर खड़ी हो जाती हैं। तभी वो लड़का फिर उसके पास आकर बोलता हैं_ उफ़ क्या अदाए हैं तुम्हारे पहली दफा मे ही दिल ले गई। इतना कार के विंडो मे से अपना हाथ निकाल वो उस लड़की का हाथ पकड़ लेता हैं। बादशाह ए जीन जो कभी किसी जानवर किसी फूल का भेष बदल पूरी दुनिया की सेर करते थे वो आज यहां भी एक पंछी बन पहुंच गए थे। वो ये नज़ारा देख उस लड़की को बचनें आ ही रहा था की तभी वो लड़की अपना हाथ झटका उस लड़के को एक थपढ़ उसके गाल पर रशीद कर देती हैं। और उसको गाली देते हुए बोलती हैं_ you fu**ing चीपर तेरी हिम्मत कैसे हुई मेरा हाथ पकड़ने की और क्या कहाँ तूने miss cutie बेटा cutie होंगी तेरी माँ रुक तू सारा भूत पल मे उतरती हूँ तेरा मै और वो इधऱ उधर कुछ ढूढ़ने लगती हैं, तभी उसे एक पेड़ की टूटी हुई लकड़ी मिलती हैं, और उसी से वो लड़की उस लड़के को मरने लगती हैं दर्द के मारे वो लड़का चिल्लाने लगता हैं, और बोलता हैं_ are you dasted, हां!! हाआआ!!! Ouucchhhh ochhhhhh बचाओ कोई इस पागल लड़की से, तभी वो लड़की मरते हुए बोलती हैं_ पागल लड़की पागल दिखती हूँ मै तुम्हे और क्या बोला मुझे basted, रुक बताती हूँ तुझे अभी मै, उतने मे ही पुलिस आ जाती हैं वहा पर लड़ाई देख कर, ऑफिसर दोनों को रोकते हैं, एक लेडी ऑफिसर लड़की से पूछती हैं_ हो क्या रहा यहाँ, और आप मोहोतारमा मार क्यों रही हैं इन्हे, तभी वो लड़की गुस्से मे भड़कते हुए बोलती हैं_ पूछिए इन जनाब से क्यों मुझे छेड़ रहे थे। तभी वो लड़का बोलता हैं_ मै कब से इन मोहोतारमा को तंग करने लगा मै तो बस यहाँ से गुजर रहा था। इन्होने मुझसे लिफ्ट मांगा मैंने भी एक अकेली सरीफ दिखने वाली लड़की को देख रोक दिया कार सोचा की अकेले सुनसान सडक पर इवनिंग टाइम रहना सेफ नहीं होगा, फिर इन्होने मुझसे कहाँ की कार से उतरो मुझे कुछ समझ नहीं आया और मै उतार गया एंड then सडनली ये मुझे मरने लगी पागलो की तरह ले के जाए आप सभी इन्हे पागल हैं ये औरत देखिये कितना मारा हैं इसने मुझे और वो लड़का अपना चोट दिखाने लगता हैं। उसका सफ़ेद झूठ सुन लड़की का दिम्माग ख़राब हो जाता हैं और वो गुस्से मे बोलती हैं_ अभी तो बहुत काम मारा हैं तुझे इधर आ तू चुज़े, बिना पके हुए अंडे रुक तू और फिर डांधे उठा लेती हैं तभी officers रोकते हुए बोलती हैं_ रुकिए मोहोतारमा ये आप क्या कर रही हैं!!! नाम बतए आप अपना तभी वो लड़की बोलती हैं_ रौशनी रौशनी अहमद और वहा पर एक officers नाम लिखने लगता हैं। दोनों का और ऊपर से बादशाह ए जीन परिंदा बन सब देख रहा था। लेकिन जैसे ही रौशनी नें अपना नाम बतया वो कही खो सा गया और अपने मन मे नाम को दोहोराते हुए बोला_ रोषह्ह्ह्हनी रोशननी और कुछ ढूढ़ली सी यादे उसके जहन मे चलने लगी तभी रौशनी के चिल्लाने की आवाज़ आई तभी फोरन वो जीन पेड़ के पीछे छुप इन्शानि रूप ले लेता हैं। और रौशनी के पास पहुंच जाता हैं। और अपने husy voice मे बोलता हैं_ क्या हो रहा हैं यहाँ पर?? उसका औरा इतना खौफनाक था की सभी उसे देख डर जाते हैं प्लस उसकी voice इतनी कड़क और भारी लेकिन रौशनी बस वैसे ही खड़ी रहती हैं। जैसे उसे कोई डर ना लगा हो, तभी ऑफिसर जीन को नज़र अंदाज़ कर बोलते हैं_ तुम दोनों चलो मेरे साथ पुलिस स्टेशन रौशनी बोलती हैं_ मै नहीं जाऊगी मुझे अपने घर जाना हैं और मेरी कोई गलती नहीं हैं आप cctv फूटेज चीक करें। तभी वो लड़का बोलता हैं_ मुझे भी नहीं जाना हैं छोढ़िए मुझे, तभी वो ऑफिसर बोलते हैं_ केस तो बनेगा पब्लिक प्लेस मे शोर कर रहे तुम दोनों जादा लैला मजनू बनना हैं तुम दोनों को तो जेल मे बताती हूँ मै, तभी वो जीन बोलता हैं_ इन मोहोतारमा की कोई गलती नहीं हैं आप इस शख्श को ले जाए, तभी ऑफिसर पूछती हैं_ तुम्हे कैसे पता हैं?? तभी वो जीन बोलता हैं_ सब पता हैं मै यही था और ये ले सबूत और लड़की को छोड़ो, इतना बोल अपने जेब से एक अपना फ़ोन मे चल रही cctv फूटेज ऑफिसर को दिखा देता हैं। फूटेज देख पुलिस वाले लड़के से बोलते हैं_ जादा होसियार बन रहा मासूम बच्ची को परेशान कर रहा था चल हम बताते हैं तुझे परेशान करना किसे कहते हैं और रौशनी से माफी मांग उस लड़के को लेते जाते हैं वहा से, क्या होगा आगे रौशनी और जीन मे क्या दोस्ती होंगी?? और वो जीन ए सियाह कौन था?? कौन सी जगह थी वो जहा इतना अधेरा था। और ऐसा क्यों हैं वहा पर?? आगे जानने के लिए पढ़िए रूह-ए-रौशनी
अब आगे... पुलिस के जाने के बाद रौशनी जीन की तरफ देखती हैं। बादशाह ए जीन जो उसी की तरफ अपनी काली आँखो से देख रहा था। रौशनी उसे देख normal सा स्माइल पास करते हुए बोलती हैं_ सुक्रिया आपका, तभी रौशनी की बस आ जाती हैं और रौशनी उसमे बैठ वहा से चली जाती हैं, बादशाह ए जीन बस रौशनी और उसके बस को जाते हुए देखता रह जाता हैं। और कुछ नहीं बोलता हैं ना जाने कौन सी सोच मे मगन था वो जीन दूसरी तरफ एक बढ़ी सी हवेली मे एक औरत जो गहनो से लदी, काफी सुंदर और रहीश मालूम हो रही थी वो गुस्से मे इधर उधर घूमते हुए बोलती हैं_ अली अली अली अली कहाँ हो तुम, नजाने कब सुधारे गे आप, आपको अच्छे से पता हैं आश्मन के पैगाम झूठे नहीं होते हैं। फिर भी आप इतने लापरवाह कैसे हो सकते हैं। आपके बाबा तो ऐसे बिलकुल नहीं थे। नजाने आप इतने लापरवाह कैसे निकल गए। वो औरत बोल ही रही थी की उसकी नज़र आश्मन मे फेलते हुए काले बादल नजर आते हैं। वो काले बदल देख उस औरत की आँखे बढ़ी हो जाती हैं तभी पीछे से आवाज़ आती अम्मी आपने हमें याद किया ये आवाज़ सुन वो औरत बोलती हैं_ अली वो जाग गया (ये बोलते वक्त उस औरत के आँखो मे खौफ साफ दिख रहा था) तभी वो आदमी आकर देखता हैं तो काला धुआँ आश्मन को अपने मे मिलाने की कोसिस मे था। तभी वो आदमी अपने हाथ उस काले धुआँ के तरफ करता हैं उसके हाथ से एक ब्लू कलर की रेज़ निकलती हैं और आश्मन साफ हो जाता हैं। तभी वो लड़का बोलता हैं_ कहाँ हैं काला धुआँ अम्मी कोई नहीं आया हैं और अगर वो आएगा भी तो ऐसे ही जिन्नतो को बादशाह आपका बेटा उसे ख़तम कर देगा। वो औरत जो बादशाह ए जीन की अम्मी फरगाना जिनि थी। फरगाना बोलती हैं_ हमें तैयार रहना होगा उसके लिए, तभी अली बोलता हैं। आप फिक्र ना करें हमारे होते हुए कुछ नहीं होगा अम्मी और अली अपने माँ को गले लगा लेता हैं। सिया :- बादशाह ए जीन हमारे हीरो का नाम क्या हैं ये आपलोगो को बाद मे पता चलेगा बकी अली उसका नीक नाम हैं। 15 दिन बाद, अली एक बार मे था और नशे मे धुत था। और उसके आगे पीछे लड़किया ही घूम रही थी। और उसको सेदेक्टिविली टच कर रही थी। तभी अली को एक उजाला दीखता हैं और एक लड़का बोलता हैं_ रौशनी रौशनी मेरी बात सुनो यार नाराज़ ना हो। रौशनी!!!! ये नाम सुन अली जो साइड सोफे पर बैठा हुआ था वो उठ जाता हैं। और उस लड़के और लड़की के पीछे जाने लगता हैं, अली के पैर लड़खड़ा रहे थे। वो रौशनी रौशनी बार बार पुकारते हुए जा रहा था। तभी एक कार्नर पर वही लड़का लड़की एक दूसरे को किश कर रहे थे। ये देख अली का सारा नशा गायब हो जाता हैं और उसकी आँखे लाल हो जाती हैं। उसका अशली रूप सबके सामने आने लगता हैं उसकी आँखे काली होने लगती हैं, उसके नेल्स बढ़े होने लगते हैं, वो उन दोनों लड़के लड़की के तरफ बढ़ता हैं और उन्दोनो को अलग कर देता हैं अली के ताकत की वजह से वो लड़का बहुत पीछे जा कर गिरता हैं और अली के गुस्से से उस बार के सारे कांच टूट जाते हैं और लाइट on off होने लगती हैं, अली की नज़ारे उस लड़की की तरफ ज़ब जाती हैं तो उसके बंधे हुए हाथ के पंजे खुल जाते हैं। और उसका गुस्सा धीरे धीरे शांत होने लगता हैं, तभी बार के बॉडी गार्ड्स आते हैं अली के पास और बोलते हैं_ सर mam यहाँ से चले आपलोग अभी एअर्थक्वेक की वजह से ये सब हो गया हैं। आप चले यहाँ से plzz अली बिना कुछ बोले वहा से चला जाता हैं। वही दूसरी तरफ समरकंद मे रौशनी अपने बेडरूम मे सो रही थी। तभी उसके कानो मे अजीब सी आवाज़ सुनाई देती हैं वो आवाज़ किसी मर्द की थी और बहुत मनमोहक और भारी आवाज़ थी जैसे कोई तड़पते हुए पुकार रहा हो उसे रौशनी!!!!, रौशनी!!!!, रौशनी!!! इस आवाज़ मे इतनी तड़प थी की कोई भी भगा चला जाए, कुछ ही देर मे रौशनी की सांसे फूलने लगती हैं और वो हड़बड़ा के उठ पढ़ती हैं। रौशनी के माथे पर बहुत सारे पसीने के बूंद थे। वो अपने सासो को काबू करने की कोशिस कर रही थी। उसके हाथ तक काप रहे थे, उसके आँखो मे आँशु थे। और जबान लड़खड़ा रहे थे। ऐसा लग रहा था उसकी रूह किसी का नाम पुकार रही हो शोर मचा रही हो लेकिन उसकी जबान उसका साथ नहीं दे रही थी। रौशनी अपने बगल मे रखा पानी पीती हैं, और अपने आपको normal करती हैं। रौशनी अपने आपको समझते हुए बोलती हैं_ कुछ नहीं हुआ हैं रौशनी तुम्हारे मन का वहम हैं, नजाने क्या क्या सोचती रहती हो तुम इसी लिए तुम्हे अजीब अजीब ख्वाब आते हैं रौशनी अपने आपसे ही बड़बढ़ाते हुए फिर सो जाती हैं। समुन्द्र के किनारे, अली समुन्दर के शूर मे अकेले शांत हो के बैठा था। उसे पता था की आज क्या हुआ हैं, उसे पता था की आज उसने क्या करने की कोसिस की, पर उसे ये नहीं समझ आ रहा था की उसने ऐसा क्यों किया और ये नाम रौशनी पर उसे इतना गुस्सा क्यों आ गया?? अली अपने आप से ही बोलता हैं_ ज़ब से उस लड़की को देखा हैं। एक अजीब सा लगता हैं, रौशनी नाम मुझे इतना परेशान क्यों कर रहा?? कही वो एक जिन्नी तो नहीं?? हो सकता हैं इसी लिए मुझे इतना फर्क पढ़ रहा हो वरना इन्शानी जात एक जीन को क्यों ही अपने तरफ खींचेगा, हो सकता हैं वो एक दुश्मन काबिले की भी हो, अम्मी हमेसा बोलती हैं, हम शाही जीन हैं हमारे अंदर इतनी ताकत होती हैं की हम किसी भी दुरे जीन को देख और सूंघ के पहचान सकते हैं। अली अपने मे ही उलझा हुआ रौशनी के बारे मे सोच रहा था। खुद ही सवाल बना रहा था और खुद ही उसका जवाब दे रहा था। रात 3 बजे, जीन ए जंगल मे, पिछस, जानवर, भूत, बटकती रूह सबके रोने की आवाजे आ रही थी। वही एक 100 फूट का एक काला लिबास मे आदमी खून से रंगा हुआ था उसके हाथ, पैर और उसके मुँह मे भी खून ही खून हुआ था। लाखो करोड़ों के आबादी मे जानवर मारे पढ़े थे। तभी शख्श बोलता हैं_ काले जीन क्या तुम्हारी प्यास बुजी पहले ही बहुत सारे जानवर और लोगो के जान जा चुके हैं। तभी वो जीन जिसका नाम काला जीन था वो इशारा करता हैं_ हां, फिर वो अरबी भाषा मे कुछ उस काली दीवाल पर लिखता हैं_ يحدث لي. أنا سعيد حقًا بما أريده لقد أخبرتني أن هذا هو ما يمكن أن (तुझे क्या लगता हैं मै खून का प्यासा हूँ इस खून से मुझे बेसुमार ताकत मिलती हैं। पर मै तुझे खुश हूँ बता क्या चाहता हैं तू) वो शख्श ये सुन कर खुश हो जाता हैं और उसके होंठ तिरचे मूढ़ जाते हैं। काला जीन फिर उसके तरफ देखता हैं और इशारा करता हैं_ तुझे जो चाहिए वो मांग ले लेकिन कोई एक ही मुर्राद तेरी पूरी होंगी। तभी वो शख्श बोलता हैं_ मुझे तुमसे बस एक चीज ही चाहिए बोलो दे सकते हो इतनी ताकत हैं तुझमे?? उस शख्स नें ये ताकत वाली बात जान मुच कर की थी की काला जीन भड़क जाए लेकिन तभी काला जीन अपना सर बस ऊपर निचे करता हैं उतने मे ही वो शाख खून से सने हुए दिवार पर जा टांगता हैं। और काला जीन हस्ते हुए उसे इशारे मे बोलता हैं_ तुझे क्या लगा मुझे काला जीन जीन ए सियाह जिससे ना ही परी, परिंदे, बल्कि फरिस्ते और जीन भी कापते हैं तू उसे बड़का देगा?? तभी वो शख्श जो दर्द से तड़प रहा था अपनी उच्ची आवाज़ मे बोलता हैं_ और जहनुम का शहनशा बादशाह ए जीन क्या वो भी तुझसे डरता हैं जीन ए सियाह?? उसने इतना बोला ही था की काले जीन का पूरा चेहरा पीला पढ़ जाता हैं। उस शख्श को साफ मेहेसूस हो रहा था की उसने काले जीन के दुखती नाश पर अपना हाथ रख देता हैं। तभी वो शख्श बोलता हैं_ तू मुझे कोई तोफ देना चाहता हैं न तो मै तुझसे तोफ मे पूरा जहनुम और बादशाह ए जीन का ताज मांगता हूँ दे पायेगा?? उसकी बात सुन काला जीन उसे दिवार से निचे पटकते हुए बोलता हैं_ तेरी मांग बहुत बढ़ी हैं हलीमा!!!!! लेकिन जीन ए सियाह भी खुदा हैं दुनिया का वो कुछ भी कर सकता और तुझे मे खुद जहनुम का ताज पहनाऊंगा। इतना बोल वहा से काला जीन गायब हो जाता हैं और वो शख्श जो एक औरत थी उसके चेहरे पर एक कातिलाना मुस्कान आ जाती हैं। So, readers मै आपको बता दू तो, काला जीन ofcouse ये नाम मैंने ये जादू हैं जीन से लिया था एंड मैंने सर्च भी किया हैं तो काले जीन होते हैं। और मै आपलोगो को बता दू तो जीन दो तरह के होते हैं एक वो जो साफद कपढ़ो मे रहते हैं दूसरे वो जो काले कपढ़ो मे रहते हैं काले कपड़े वाले बुरे और साफद कपड़े वाले अच्छे होते हैं। बकी हुमारा हीरो बादशाह ए जीन वो कौन सा जीन हैं ये आपलोग मुझे बताइये उसकी हरकतो से 😁😁😁 comment मे answer चाहिए मुझे thank you like commnet kar dena aaplog baki agr hindi mistake ho ya editing problem ho to थोड़ा manage kar lena aaplog mai थोड़ा nind me bhi chapter likhti hu so, ho skte hai baki hero na name unique and secret hai so baad me open hoga 😁😁
अब आगे... समरकंद, वो सोचते सोचते और रौशनी की तलाश मे उड़ते उड़ते अली समरकंद पहुंच गया था और रात से वो वही उसी बस स्टॉप पर रौशनी का wait कर रहा था। अली को रौशनी का पता तो नहीं पता था लेकिन उसका दिल गवाही दे रहा था की हो ना हो रौशनी उसे इसी बस स्टॉप पर मिलेगी, तभी एक बस आकर रूकती हैं, नजाने क्यों अली के दिल की धड़काने अचानक से बढ़ गई थी। उसकी नज़ारे उस बस से उतरते और चढ़ते लोगो पर ही टिकी हुई थी। तभी उस भीड़ मे रौशनी की आवाज़ सुनाई देती हैं_ चल सना जल्दी चल वरना हम लेट हो जायगे, अली के कानो मे ज़ब रौशनी की आवाज़ पढ़ी ही थी की उसकी नज़ारे उसी पर टिकी रह गई। रौशनी को देख अली को एक अजिब सी ख़ुशी मेहेसूस होने लगी थी जैसे की उसे जन्नत का कोहिनूर या खुद अल्लाह नसीब हो गए हो 😊😊 रौशनी नें इस वक्त जीन्स तोप और ऊपर से स्काफ लिया हुआ था जिसमे वो बहुत क्यूट लग रही थी। अली बस रौशनी को देखता राज जाता हैं एंड रौशनी बस पर अपनी सीट ले लेती हैं। ज़ब बस चलने लगती हैं तब अली को होश आता हैं की उसे तो रौशनी का पीछा करना था। अली जल्दी से एक परिंदे के बेश मे उड़ जाता हैं और रौशनी के बस का पीछा करने लगता हैं। रौशनी जो आराम से बुक पढ़ते हुए अपने घर को लौट रही थी उसे तो पता ही नहीं था की कब से उसके पीछे एक जीन पड़ा हैं। बुक पढ़ते पढ़ते रौशनी का ध्यान उसी परिंदे पर जाता हैं, जो नजाने कब से उसी के साथ उड़ रहा था। रौशनी को वो परिंदा बहुत प्यारा लगता हैं। रौशनी उस परिंदे से बात करने का सोचती हैं। और रौशनी उस उड़ते हुए परिंदे से बोलती हैं_ हई नन्हे परिंदे यहाँ क्या कर रहे तुम?? रौशनी नें बोला ही था की अली इशारे मे बोलता हैं_ हा तुम्हारे घर, पर रौशनी को कुछ समझ नहीं आता, रौशनी कुछ भी समझते हुए खुद ही सवाल और खूद ही जवाब देने लगती हैं_ नन्हे परिंदे आपका नाम क्या हैं??, अली अपने मन मे बोलता हैं_ अली जिस से तुम कुछ दिन पहले मिली थी, जिसने तुम्हे पुलिस से बचाया था। रौशनी बोलती हैं_ ठीक हैं हम तुम्हे एक नाम देते हैं इतना बोल रौशनी सोचने लगती हैं अली बोलता हैं_ नहीं मेरा नाम मुझे बहुत पसंद हैं तुम्हे बदलने की जरूरत नहीं हैं, इतना अली नें बोला ही था की तभी उसके दिम्माग पर जोर पढ़ता हैं और उसे कुछ याद आता हैं, फ़्लैशबैक सुनो हम तुम्हे एक नया नाम देते हैं, अली :- कोई जरूरत नहीं हैं, मेरा नाम मुझे बहुत पसंद हैं तुम्हे बदलने की जरूरत नहीं हैं, अल्लाह हाफ़िज़ फ़्लैशबैक एन्ड इतना याद आते ही अली के दिल की धड़काने बढ़ जाती हैं और आगे एक खम्बा था जिसपर अली की नज़ारे नहीं गई क्युकी उसकी आँखे बंद थी, और अली उस खम्बे से लड़ निचे गिर जाता हैं। उसको गिरता देख रौशनी की जान उसके हलक मे अटक जाती हैं और अनजाने मे उसके मुँह से खड़ूस बालोच निकल जाता हैं, अली नें गिरते हुए सुन लिया था ये नाम, ये नाम उसने ही अली की आँखे खुल जाती हैं, और उसकी पावर activate वो जाती हैं लेकिन बस भी अपने रफ़्तार मे थी। अली दुगनी तेज़ी से उड़ता हैं और उस बस तक पहुंच जाता हैं लेकिन उस बस से रौशनी उतार गई थी क्युकी स्टॉपज पास था। बस से उतार के रौशनी पीछे की तरफ भी जाती हैं लेकिन अली वहा से उड़ चूका था। तभी सना रौशनी से पूछते हुए बोलती हैं_ क्या हुआ रौशनी?? कुछ गिर गया था?? रौशनी की नज़ारे बस कर परिंदे को खोज रही थी। और वो सना से बोलती हैं_ नहीं सना वो यहाँ पर एक परिंदा होगा वो लड़ के गिर गया था। बिचारे को बहुत चोट आ गई होंगी, सना ज़ब ये सुनती हैं तो उसकी आँखे ही बाहर आ जाती हैं। और वो रौशनी से बोलती हैं_ रौशनी तू एक परिंदे के लिए इतनी दूर तक आई हैं सच्ची मे?? या अल्लाह वो एक परिंदा हैं। हज़ार परिंदे उड़ते हैं और एक दिन मे मार भी जाते हैं सना नें इतना ही बोला था की रौशनी गुस्से मे बोलती हैं_ पागल हो गई हैं तू परिंदो मे जान नहीं होती क्या दर्द नहीं होता उन्हें क्या?? सना बोलती हैं_ रौशनी मै ये नहीं बोल रही वो उड़ गया होगा उन्हें एक दिन मे बहुत से ऐसे चोट लगते हैं इतना बोल सना रौशनी को अपने साथ लेते जाती हैं, वही अली रौशनी को आश पास देख रहा था लेकिन रौशनी उसे नहीं दिख रही थी अली बहुत जादा फ़िक्र मंद हो गया था। अली बस के साथ आगे निकल जाता हैं रौशनी के खोज मे रौशनी और सना का घर पास मे ही पढ़ता था इस लिए रौशनी अपने घर और सना अपने घर चली जाती हैं, रौशनी रास्ते से ही सोच रही थी, उसने ऐसा क्यों किया पहले तो ऐसा कुछ नहीं किया था अपने लाइफ मे उसने, हा उसके दादा जी पंछियो और परिंदो के डॉ. थे जिसकी वजह से रौशनी को भी बहुत लगाव था पंछी और परिंदो से, लेकिन उतना भी नहीं क्युकी ये सब उसकी अम्मी को पसंद नहीं था यही वजह थी की रौशनी इंडिया से समरकंद आ गई थी। वरना खानदान तो उसका हिंदुस्तान का ही था। रौशनी यही सब सोचते सोचते अपने घर मे आती हैं और अपने घर से अपने रूम मे चली जाती हैं बिना किसी से कुछ कहे, रौशनी नें अपने रूम की खिड़की खुली हुई रखी थी। रौशनी को कुछ समझ नहीं आ रहा था, समरकंद मे ठण्ड का महीना था जिसकी वजह से हर जगह सर्दिया थी लोग घरों मे आग जला के रहते थे। तभी कुछ लोगो का ग्रुप कोने मे आग जला रहे थे। रौशनी की नज़र उस आग पर पढ़ती हैं जिसकी लाए अचानक से बढ़ी उठी हुई थी। रौशनी उस आग को देख डर जाती हैं। उसके माथे से पसीना आ जाता हैं उसे कुछ धुंधली यादे याद आने लगती हैं, फ़्लैशबैक बीबी रुकिए वहा खतरा हैं आप मत जाइये, हाययय अम्मी आग लगा हुआ हैं यहाँ तो, babaaa, मेरा इंसाफ यहाँ नहीं वहा होगा, उस रब के दौराजे पर, मैंने आज जैसे अपना सब कुछ खोया हैं तू भी सब कुछ खोयेगा, ये एक माँ की बद्दुआ हैं तुझे, तुम्हे डर नहीं लगता हैं?? नहीं डर उसे होता हैं जिसके पास जीने के लिए मंजिल और मरने का खौफ हो मेरे पास कुछ नहीं,, तुम्हे तो काफी चोट आई हैं उसके बाद रौशनी को एक नाम सुनाई देता हैं_अलीईईईई!!!!! रौशनी ये नाम सुन अपनी आँखे खोल देती हैं, और उस आग को देखते हुए उसके मुँह से निकलता हैं_ अलीईई!! और दो कदम पीछे हट जाती हैं घबरत से उसकी सांसे फूलने लगती हैं, उधर अली जो कब से रौशनी को ढूढ़ रहा था रौशनी के जबान से जैसे ही अली निकला उसकी आँखे बढ़ी हो गई और उसी दिशा मे चल पड़ा जिस तरफ से आवाज़ आई थी 2 सेकंड मे अली रौशनी के खिड़की पर था। रौशनी जिसकी सांसे थमने का नाम नहीं ले रही थी, अली रौशनी की ये हालत देख उसके पास जाता हैं और उसके आगे पीछे मण्डारने लगता हैं, लेकिन रौशनी को सिर्फ वही आग दिख रहा था। रौशनी अपने घबराते हुए बार बार आग आग चिल्ला रही थी। अली नें जैसे ये नाम सुना उसने रौशनी की आँखो का पीछा किया, तब उसे आग दिखा अली नें उस आग और आश्मन को अपनी कधी नजरों से घुरो तभी स्नो फोल होने लगी और तेज आवाये चलने लगी, कुछ ही वक्त मे वो आग बुझ गया, और अली रौशनी के इर्द गिर्द घूमने लगा चु... चू... चू चू करते अली रौशनी के इर्द गिर्द घूम ही रहा था की रौशनी की नजर उसपर जाती हैं और वो उस परिंदे को फोरन पहचान लेती हैं, रौशनी उसे ख़ुशी से देखती हैं और सबकुछ भूल जाती हैं अली जा कर उसी बारांदे पर बैठ जाता हैं, रौशनी उसे देख बहुत खुश होती हैं, और परिंदे को अपने हाथ मे लेकर उससे बाते करने लगती हैं_ रौशनी :- तुम ठीक हो न नन्हे परिंदे परिंदा (अली) :- अपने सर हा मे हिला देता हैं। रौशनी :- तुम्हे कही चोट तो नहीं लगी ना, वहा तुम गिर गए थे। परिंदा (अली) :- अपने सर ना मे हिला देता हैं। रौशनी :- तुम्हे पता हैं नन्हे परिंदे mai तुम्हे ढूढ़ते हुए वहा गई थी, जहा तुम गिरे थे लेकिन तुम वहा दिखे ही नहीं मुझे ये बात रौशनी नें उदाश होते हुए कहाँ था 🥺🥺 परिंदा (अली) :- अपने मन मे सोचते हुए एक परिंदे के लियर इतनी हमदर्दी और रौशनी अली से सब कुछ बताती हैं, अली भी ख़ुशी से उसकी सारी बाते सुनता हैं। तभी कुछ सोच कर रौशनी अपने बैग से बिस्किट निकलती हैं और उसे चूर करके उस परिंदे के सामने कर देती हैं, वो परिंदा जो एक जीन था, वो इस बिस्तकित को देख मुँह बना लेता हैं। अली अपने मन मे बोलता हैं_ eewww ये लड़की मुझे ये बकवास सा बिस्किट क्यों दे रही हैं इसकी स्मेल भी अच्छी नहीं लग रही हमें तो, तभी रौशनी अपने मीठी आवाज़ मे बोलती हैं_ खा लो नाने परिंदे कब से उड़ रहे थक गए होंगे, थोड़ा खा लो और आराम कर लो 😊, रौशनी नें इतने प्यार से बोला था की इस वक्त अली के सामने वो जहर भी ले कर खड़ी होती तो वो ख़ुशी ख़ुशी उसे भी कुबूल कर लेता, अली आगे बढ़ा और रौशनी के हाथ मे पड़ा वो बिस्किट का चुरा को खाने लगा, वो इतने आराम आराम से खा रहा था जिस से रौशनी को उसकी चोंच ना लगे, तभी रौशनी के भाइयो की आवाज़ आती हैं_ आप्पा आप्पा जल्दी निचे आए, रौशनी ये आवाज़ सुन चुरा वही बारांदे के फर्श पर रखते हुए बोलती हैं_ नन्हे परिंदे तुम तब से ये खाओ मै थोड़ी देर मे. आती हूँ। 😊😊 इतना बोल रौशनी रूम से बाहर निकल जाती हैं, Readers aapne mujhse puchha ki zanjir-e-ishq kb aayega aaplog ne itna intazar kiya hai to thodi der aur kar lein jaldi hi vo bhi aayega And chapter ispr aise hi milege kyuki views aa nhi rhe aur aaplogo ne bhi maire sawal ka jawab nhi diya, Khair ye btaiye ki aapko rooh e roshni novel kaisi lag rahi hai waise hi mai isse continue karugi hindi me warna english me likh kar kahi aur publish kar dugi And aaplogo ko bta du to hindi se jada easy maire liye english hota hai beacuse usme mujhe urdu ke words nhi dhudhne pdhte hai 😅😅😅
अब आगे... जीन महल मे,, फरगाना जी के पास एक फरिस्ता आता हैं, जीने साफद रंग की पोषक पहनी थी। और उसका चेहरा चमक रहा था देखने मे वो एज्ड लग रहा था। फरगाना जी उस फरिस्ते को देख बोलती हैं_ अल्लाह सब खैरियत रखे, आप यहाँ सब खैरियत और मेहेफूज़ तो हैं?? तभी वो फरिस्ता बोलता हैं_ अभी तक तो सब खैरियत और मेहेफूज़ हैं फरगाना लेकिन ये ख़ामोशी तूफान के पहले की ख़ामोशी से वो जग चूका हैं और आपका बेटा और आप उसे मज़ाक मे ले रहा हैं, वैसे वो तो मज़ाक मे लेगा ही न क्यों फरगाना?? उस फरिस्ते नें आपकी तीखी जबान और अपनी तीखी आँखो से बोला था, फरिस्ते के ऐसे बोलते हुए हैं फरगाना जी घबरा गई थी। फरगना जी फिर भी खौफजादा होते हुए बोलती हैं_ आप कहना क्या चाहते हैं?? तभी वो फरिस्ता बोलता हैं_ आप अच्छे से जानती हैं हम क्या कहना चाहते हैं लेकिन आपके सवाल पर इसका जवाब भी दे देते हैं, भले ही आपका बेटा बादशाह ए जीन हो लेकिन उसकी रूह और वो पहले कहाँ था ये आप अच्छे से जानती हैं, तभी फरगना जी बोलती हैं_ वो सब भूल चूका हैं ये बोलते हुए फरगना जी के चेहरे पर डर साफ दिख रहा था। तभी वो फरिस्ता बोलता हैं_ आप भूल रही हैं मलिका फरगाना उसका जिस्म उसका दिम्माग सब भुला हैं, उसका दिल और उसकी रूह सब जानती हैं, दुनिया का दस्तूर हैं ये फरगाना हमेसा जिस्म बाते भूलता हैं रूह को सब याद होता हैं, और आप भी ये बात अच्छे से जानती हैं और हम भी की अगर उसने जिस्मानी रूह की तलब हुई तो वो क्या कर सकता हैं?? इतना बोल वो फरिस्ता वहा से गायब हो जाता हैं। और इधर फरगाना जी गुस्से मे बोलती हैं_ नहीं नहीं नहीं अली हुमरा बेटा हैं मै उससे कही जाने नहीं दूगी, एक दफा खो चुके हैं अपने बेटे को दूसरी दफा नहीं खो सकते, समरकंद,, रौशनी के जाने के बाद अली अपने असली रूप मे आ जाता हैं। और पुरे रूम को वो गॉर से देखने लगता हैं, रौशनी के रूम मे, उसकी बहुत चीज़े थी बचपन की फोटो, उसके अम्मी अब्बा की फोटो उसके दोनों छोटे bhai उसके दोस्त, उसके समान अली सब चीज़ो को गॉर से देख रहा था तभी उसकी नज़र एक कार्नर पर रखे संगमरमर के ताज महल पर जाता हैं जो काफी छोटा था लेकिन दिखने मे बहुत प्यारा था। वो ताज महल की मूर्ति अली को बहुत खाश लगती हैं। और वो ईमारत उससे अपनी तरफ अटैरैक्ट करती हैं, अली अपने मन मे सोचता हैं_ हमने तो बहुत सी जगह की शैर की हैं लेकिन ये कौन सी जगह हैं जहा पर हम नहीं गए अली उस ताज महल को छूने ही वहा था की उसके कानो मे किसी की कदमो की आवाज़ आती हैं वो फोरन परिंदा बन मासूमियत से फिर से जाकर खिड़की पर बैठ जाता हैं, और जैसा रौशनी कह के गई थी, वैसे ही एक ईमानदार और वफादार बच्चे की तरह बिस्किट को टूगने लगता हैं, कुछ ही देर मे रूम का गेट open होता हैं और रौशनी रोते हुए रूम मे आती हैं, अली को कुछ समझ नहीं आता की रौशनी रो क्यों रही हैं?? वो रौशनी के पास जाता ही की उसके पहले ही रौशनी वॉल पर लगे एक फोटो को उठा के रोने लगती हैं, और रोते हुए बोलती हैं_ ददू अब मुझे पता चला की क्यों मुझे आज आपकी याद आ रही थी लेकिन आप अपने गुड़िया से मिले भी नहीं और हमें अलविदा तक हो बोला और सबको छोड़ के चले गए क्यों ददू क्यों 😭😭, अली को अब समझ आया की क्या हुआ हैं रौशनी के दादा जी आज ही अल्लाह को प्यारे हो गए थे इसी लिए रौशनी रो रही थी। लेकिन अली को ये देख achha नहीं लग रहा था की रौशनी रोए, वो रौशनी के पास जाता ही तभी उसके कानो मे किसी की मरती और तड़पती हुई आवाज़ सुनाई देती हैं, बादशाह ए जीन, बादशाह ए जिननननन, बादशाह ए जिननन, अली ये आवाज़ अच्छे से पहचानता था। अली के मुँह से फोरन मुकरीद नाम निकलता हैं और अली बिना वक्त गवाएं वहा से निकल जाता हैं। रौशनी जो अपने दादा जी की तस्वीर अपने सीने से लगा के रो रही थी। उसके bhai आते हैं और रोते हुए बोलते हैं_ आपा डैड नें कहाँ की हमें फोरन इंडिया रवाना होना हैं, इसी लिए हम पैकिंग कर ले, रौशनी इतना सुन समान बांधने मे लग जाती हैं, और उधर अली मुकरीद को ढूढ़ने निकल पढ़ता हैं, रात के वक्त जंगल ए जीन मे, आज आश्मन मे चाँद नहीं निकला था पूरा आश्मन आज काला और चाँद और उसकी रौशनी से वंचित था। अली मुकरीद को ढूढ़ते ढूढ़ते जीन स जंगल मे पहुंच गया था। लेकिन मुकरीद उससे कही ना तो मिल रहा था ना ही दिखाई दे रहा था। अली हर जगह ढूढ़ रहा था उससे तभी घूमते घूमते अली के पैर मे कुछ लगता हैं, अली अपने पैर की तरफ देखता हैं तो उससे खून दीखता हैं, अली को कुछ समझ नहीं आ रहा था। अली उस खून को देखते और follow करते हुए आगे बढ़ने लगता हैं, कुछ दूर चलने के बाद अली को मुकरीद की बॉडी मिलती हैं। मुकरीद मारा हुआ पड़ा था अली जोर से चिल्लाते हुए मुकरीद की तरफ दौड़ता हैं_ मुकरीद!!!!!! अली नें इतने जोर से चिल्लाया था की जंगल के सारे पेड़ काप गए थे। मुकरीद तक वो पहुँचता उससे पहले ही अली को मुकरीद के पीछे से एक बहुत बढ़ा काला साया दीखता हैं, अली उस काले सए को देख कुछ समझ नहीं पता लेकिन धीरे धीरे वो काला साया मुकरीद और अली को पूरा धक् लेता हैं और तब जा कर अली को काला जीन दिखता हैं, एक बार को तो अली भी उस सए को देख ख़बड़ा गया लेकिन तभी अली नें भी अपनी जिन्नात की ताकत इस्तेमाल की और एक बढ़े ख़तरनाक जीन मे तकदील हो गया, जो दिखने मे बहुत ख़तरनाक लग रहा था उसका लिबास काला और नीला कलर मे था। बढ़े बढ़े हाथ के नाख़ून, सर पर दो सिंघ निकल गई थी बढ़ी सी टोपी जिसमे से सिर्फ अली की आँखे और दांत दिख रहे थे। आँखे भी एक दुख घनी काली और उस आँखे के बिच मे एक ब्लू कलर का sign, हाथ मे जिन्नातो की सबसे मजबूत नीले हिरे और प्लैटिनम की तलवार, शरीर के जितने भी अंग दिख रहे थे थोड़ी सी भुजा उसपर ब्लू और सिल्वर मे टैटू ब्लू कलर की नशे भी उभरी हुई थी। और हाइट 100 फिट की, काला जीन जिन्नात के बादशाह का ये रूप देख और गुस्सा आने लगता हैं और उसकी मुठिया कश जाती हैं, तभी काला जीन पहली बार अपनों आवाज़ मे बोलता हैं_ نفس الوجه، نفس الموقف ونفس الطبيعة، ذكّرتني بما حدث قبل 1000 عام ولكن تذكر هذا، جين إي سياه، لقد تناولت الكحول في ذلك اليوم، لا تعتقد أنني سأكرر نفس الخطأ بعد 1000 عام.(वही रूप, वही तेवर और वही फितरत, तूने तो मुझे 1000 साल पहले वाली बात याद दिला दी लेकिन इतना याद रख जीन ए सियाह उस दिन माद खाया था, 1000 साल बाद फिर से वही गलती दोहोराऊंगा ये मत सोचना) जिन्नात के बादशाह काला जीन की आवाज़ इतनी भारी थी की कोई भी मामूली जीन अगर उससे सुन भी ले तो उसके कान के परदे फट जाए, पहले तो अली को कुछ नहीं समझ आता लेकिन अली भी अपने जिन्नात के भारी आवाज़ मे बोलता हैं_ तू वापस क्यों आया हैं, देख मै जिन्नात का बादशाह हूँ, मेरे हुक्म की तमिल क्यों नहीं कर सकता पुरे जहानम मे, तू चला जा यहाँ से मेरे लोग तुझे कभी परेशान नहीं करेंगे और हम तुझे रहने की जगह भी देंगे, मै खून खराबा नहीं चाहता, काला जीन उसके इस बात पर जोर जोर से हाशने लगता हैं, और हैशते हुए ही बोलता हैं_ लगता हैं बादशाह ए जीन इंसानो के बिच रहते रहते इंसानो की तरह ही बन गए हैं, की जिन्नतो के उसूल भी भूल गए, अली को उसूल पता था और उसूल के मुताबिक सारे जीन जहनुम के ही होने चाहिए, और अगर कोई ताकतवर जीन आता हैं जिस से अपनी हुकूमत करनी हो उससे बादशाह ए जीन को हरा या मार के उसका तख़्त को हाशिल करना होता हैं, अली कुछ बोलता उससे पहले ही काला जीन उसपर हमला कर देता हैं, काला जीन जिनो की सबसे कमजोर जगह उनके दिल पर वार करता, काला जीन के वार करते ही, अली के मुँह से खून फेक देता हैं, लेकिन फिर अली को भी गुस्सा आ जाता हैं, अली की मुठिया कश जाती हैं, और अली अपने पुरे ताकत से काले जीन पर वार करता हैं, और दोनों लड़ने लगते हैं, काला जीन अली पर वार करने की सोचता हैं लेकिन उससे पहले ही अली अपने हाथ से उससे रोक देता हैं, अली काले जीन के मुँह मे एक घुसा मारता हैं उसके बाद उसके पेट पर अपने पैर से वार करता हैं पेट पर वर करने से काला जीन आगे की तरफ झुक जाता हैं इस मौके का फ़ायदा उठा अपने एलबो से अली काले जीन के पीठ पर वार करता हैं और उससे दूर फेक देता हैं, काला जीन भी दुबारा उठता हैं और अली के चेहरे पर वार करता हैं लेकिन अली बच जाता हैं अब काला जीन अपने हाथ से काला कलर का रेज़ निकलता हैं, अली के भी हाथ से ब्लू रेज़ निकलती हैं दोनों जोड़ पर थोड़ थे। लेकिन तभी पीछे से अली पर कोई कंजर चला देता हैं, अली पर को कंजर चला था वो कोई मामूली खंजर नहु शाही जिन्नतो का खंजर था इसी लिए अली को इफ़ेक्ट करता हैं वो खंजर, अली पीछे मूढ़ कर देखता हैं तो ये हलीमा था हलीमा को देख अली के मुँह से आपा निकलता हैं और अली लड़खाढ़ाते हुए एक पेड़ से जा लगता हैं, हलीमा को देख काला जीन एक तिरछी मुस्कान पास कर देता हैं, तभी हलीमा अली पर एक और वार करते हुए बोलती हैं_ tch tch tch बादशाह ए जीन दुनिया का सबसे ताकतवर जीन देखो आज कैसी हालत मे हैं, हलीमा की बात सुन अली तकलीफ मे बोलता हैं_ आपा आपने जिन्नतो और जहनुम से गद्दारी की हैं इसकी सजा आप जानती हैं अच्छे से, आपको.. आपको जहनुम की आगे मे जलना होगा, उसने इतना ही बोला था की हलीमा अपने दांत पीसते हुए बोलती हैं_ दोजक की आग मे तुम जलो गे मेरे प्यारे भाई, और जहनुम का तक्त मेरा होगा, अली हलीमा का सोच जान उससे अपनी लड़खाड़ाते और तड़पते हुए आवाज़ मे बोलता हैं_ ऐसा कभी न.. नहीईई हो हूँ गा क्या हलीमा की चाल कामियाब हो जाएगी, क्या काला जीन जीत जायगा और अली मर जायगा, अली के साथ अब क्या होगा, क्या कोई आएगा इसे बचाने की आज अली का आखरी लम्हा हैं, अगर next chapter jaldi hi chahiye to like commnet kr dena aap log 🥰🥰 readers aaplog plz rating bhi diya kariye ussi se to views aayega aaplog rate kyu nhi karte hai chapter ko 🥺🥺 ur Siya
अब आगे... अली हलीमा का मकसद जान उससे लड़ते हुए बोलता हैं_ ऐसा कभी नहीं होगा, इतना बोल अली अली अपना हाथ खोलता हैं, तो उसके हाथ मे जिन्नात की तलवार आ जाती हैं, अली जिन्नात की तलवार को ऊपर करता हैं तो आग,पानी, बिजली, मिट्टी और हवा तीनो ही उस तलवार के अंदर सामने लगते हैं और वो तलवार अली को ताकत देने लगती हैं, अली उस तलवार को पकड़ कुछ बोलने लगता हैं_ ताकत ए राज हज़ारो हज़ार ताकत ए राज हज़ारो हज़ारो खुदा ए जाहान पांचो जाहान आग ए जहनुम, फरिश्ता ए तारा, जिस्मानी जात........ ताकत ए राज हज़ारो हज़ार ताकत ए राज हज़ारो हज़ारो खुदा ए जाहान पांचो जाहान आग ए जहनुम, फरिश्ता ए तारा, जिस्मानी जात...... ये बार बार अली बोलने लगता हैं पुरे 5 तत्वों की शक्तियां उसके अंदर समाहित होने लगती हैं और उसके जखम ठीक होने लगते हैं, एक पल के बाद अली रुकता हैं और काला जीन हलीमा को एक नज़र देखता हैं। हलीमा को जैसे ही देखता हैं उसके इर्द गिर्द आग की लेयर लग जाती हैं वही काला जीन को देखता हैं अली इस वक्त बहुत गुस्से मे था। अली काला जीन की तरफ बढ़ता हैं और अपने पूरी ताकत से उस तलवार से उसपर वार करता हैं उस तलवार से वार करते ही काला जीन के मुँह से काला खून निकलने लगता हैं, अली काला जीन के माथे पर फिर वार करता हैं। अली अपने नाखुनो से काले जीन के सीने को फाढ़ देता हैं और उसका मरता हुआ दिल निकाल लेता हैं, दिल निकलते ही काला जीन की एक जोर दार चीख गुंजती हैं, और काला जीन एक धुआँ बन कही गायब सा हो जाता हैं अली वो दिल निकला अपने हाथो मे मसाल देता हैं जिस से उसका दिल चूर होके आग मे गिरने लगता हैं, अली के गुस्से से पुरे जंगल मे आग लग गई थी। तभी अली को हलीमा दिखाती हैं, अली हलीमा को उसके गर्दन से पकड़ उठा लेता हैं और अपनी भयानक आवाज़ मे बोलता हैं_ तू मेरी बहन हैं, लेकिन इसके लिए मै तुझे माफ़ नहीं कर सकता, तूने गलती नहीं गुनाह किया हैं, तूने जिन्नतो से दग़ा किया हैं। इतना बोल अली हलीमा को आग मे फेकने ही वाला था तभी हलीमा चिल्लाते हुए बोलती हैं_ तू मेरा भाई नहीं हैं, मेरा भाई तो आज से 70 साल पहले ही मार चूका था काला जीन को मरते वक्त तू तो एक जिस्मानी रूह हैं तू तो जीन का रूह भी नहीं और अपने आपको शाही बोलता हैं_ रौशनी सब का हिसाब चुकाना होगा ये कहते कहते मरा था तू, अली को ये सब सुन कुछ याद आने लगता हैं, अली के दिम्माग मे हलीमा की कही हुई बाते घूमने लगती हैं_ रौशनी सबका हिसाब चुकाना होगा तुम्हे, रौशनी सबका हिसाब चुकाना होगा तुम्हे!!!!! रौशनी सबका हिसाब चुकाना होगा तुम्हे!!! उसके दिम्माग की नशे इतनी गरम हो जाती हैं की हलीमा अली के हाथ मे किसी चींटी की तरह मसाल के मर जाती हैं, और अली अपने दिम्माग पर हाथ रख लेता हैं, अली अपने कपड़े तक फाड़ देता हैं तभी अली को जो इतने दिनों से दूधधूलि यादे बन उसको सता रही थी वो सब धीरे धीरे क्लियर होने लगती हैं, उसको सब याद आने लगता हैं, अली नें अपनी आँखे बंद, और अपने बालो को जोर जोर से खींच रहा था, अगर इस वक्त उसे कोई भी मामूली इन्शान या जीन देख ले तो वो उसे देख ही मार जाए, शरीर पूरा लोहे की तरह दहक रहा था। कुछ देर बाद ज़ब अली की आँखे खुलती हैं तब अली के आँखो से लाल खून निकल रहा था। अली कश के चीखते हुए बोलता हैं_ रौशनी सालाहिद्दीन सुल्ताना!!!!!!! 😫😫, रौशनी सबका हिसाब चुकाना होगा, मरने के बाद भी तुम्हारी रूह अलियार बलोच की कर्ज़ादार रहेगीईईईई!!! अली नें ये बात इतनी जोर से बोला था की पूरा तीनो जाहान काप उठा था, जहा जमीन पर समंदर का पानी बढ़ गया था, वही आश्मन मे बादल फटने लगे थे और बिजलिया ग्राजने लगी थी। और जहनुम जहनुम मे गर्मी बढ़ सी गई थी। दूसरी तरफ.. जीन ए महल मे.. गर्मी बढ़ने पर कुछ जीन सह नहीं पा रहे थे। उनके शरीर पर गर्म से अजीब से मार्क और खुजलीया होने लगी थी। वही फरगाना जी अपनी पावर इस्तेमाल तो कर रही थी। लेकिन असर तो उनपर भी हो रहा था। जिस से वो भी कमज़ोर पढ़ रही थी। लेकिन अपने लोगो को बचाने के लिए उन्होंने अपनी पूरी ताकत लगा दी थी। फरगाना जी अपनी ताकतें जमीर से जहनुम को ठंडा करने की कोसिस कर रही थी। लेकिन उनकी ताकत भी काम पढ़ रही थी। उनके साथ बहुत सारे शाही जीन भी कोसिस कर रहे थे लेकिन सबकी ताकत कम पढ़ रही थी। तभी एक शाही जिन्नोतो मे से एक जिनि बोलती हैं_ मलिका ए जिन्नात सलामत रहे मलिका बादशाह ए जीन कहाँ हैं?? गुज़ारिश हैं आपसे हमारी बुलाये उन्हें वरना बच्चे इस ताप को जादा देर तक सेह नहीं पाएंगे और हमारी तकते भी काम हो रही फरगाना जी बोलती हैं_ मैंने बादशाह ए जीन को बुलाया हैं लेकिन नजाने क्यों अभी तक वो पहुचे नहीं हैं मै एक बार और कोसिस करती हूँ। तभी फरगाना जी अपनी आँखे बंद करती हैं और अपने मन मे बोलती हैं_ अली कहाँ हो??, अली कहाँ हो??, अली कहाँ हो?? बेटा जल्दी पहुँचो तुम्हारी अम्मी को तुम्हारी जरुरत हैं। वही दूसरी तरफ अलियार अपनी हकीकत जान उसका गुस्सा परवाना चढ़ते जा रहा था। उसे ना कुछ समझ आ रहा था। ना ही उसे कुछ सुनाई और दिखाई दे रहा था। बस वो गुस्से मे जलता जा रहा था। उसके गुस्से की आवाज़ पुरे जंगल मे गूंज रही थी। वहा जहनुम मे सबकी हालत ख़राब हो रही थी तापमान जहनुम बढ़ा जा रहा था। और सभी जीन बीमार पढ़ते जा रहे थे। शाही जिनो की हालत भी बिगड़ गए थे। इन सब का इफ़ेक्ट धीरे धीरे फरगाना जी पर भी होने लगा था। फरगाना जी फिर भी अपनी शक्तियां इस्तेमाल कर रही थी क्युकी उनके सामने उनके लोगो की ये हालत हो वो ये बर्दाश हरगिज़ नहीं कर सकती लेकिन करते करते उनके आँखो के सामने अधेरा छाने लगता हैं। तभी महल के वफादार बोलते हैं_ मलिका को यहाँ से ले जाया जाए फोरन और इधर फरगाना जी जमीन मे गिरते हुए अपने मरते आवाज़ मे बोलती हैं_ बादशाह ए जीन अलियार ए अली!! ये उन्होंने बहुत खींच के बोला और बोलते ही बिहोश हो गई। दूसरी तरफ अली के कानो मे फरगाना जी की आवाज़ जाती हैं, उसकी देहेक्ति हुए आँखो के सामने सब एक बार घूम जाता हैं, उसकी अम्मी प्यार उसके परिवार का प्यार उसके लोगो का प्यार, अपनी अम्मी को याद करते ही उसके आँखो मे नमी तैर जाती हैं। और उसका गुस्सा ठंडा पढ़ने लगता हैं। वो अपनी आँखे बंद करता हैं और उसकी रूह अम्मी बोलती हैं। तभी वो अपनी आँखे खोलता हैं और वहा से गायब हो जाता हैं। अली जहनुम मे आ जाता हैं, वो जहनुम की हालत देखता हैं तो उसे सब समझ आ जाता हैं वो अपने गलती का एक बार अफ़सोस करता हैं क्युकी उसको पता था की जिन्नात के बादशाह का गुस्सा ज़ब बढ़ता है तो जहनुम का ताप भी बढ़ने लगता हैं। और ये तो हज़ारो साल से चला आ रहा हैं, राजा की गलतियों की सजा प्रजा को भोगनी पढ़ती हैं। और जीन ए सियाह के किताब मे लिखा हैं की ज़ब ज़ब काला जीन और जिन्नात के बादशाह मे महा जंग होगा तब तब बुराई और अच्छाई दोनों मिल कर बादशाह ए जीन पर असर होगा और बादशाह ए जीन पर असर मतलब जहनुम और जिन्नतो पर असर, अली को सब पता था क्युकी उसने काला जीन के बारे मे पड़ा था उसे बतया गया था। तभी वो अपनी आँखे खोलता हैं और अपने आप से बोलता हैं_ मेरे किए कज सजा मेरे लोग नहीं भुगते गे फिर उसके मन मे आता हैं की अब जहनुम का ताप कैसे काम किया जाए, तभी उसको आश्मन मे बिजली की रौशनी दिखती हैं, उसे याद आता हैं की उसकी अम्मी नें उससे क्या बोला था फ़्लैशबैक अली अली बेटा अपने गुस्से को काबू किया करो गुस्सा इन्शान को कमज़ोर बना देता हैं, और इंसानो का सबसे कमज़ोर एहसास ही गुस्सा होता हैं। इसी लिए गुस्से मे कभी भी कोई फेशला या कभी भी कुछ ऐसा नहीं करते की बाद मे हानि तुम्हारी ही हो अली :- अम्मी मुझे तेरी बात समझ नहीं आती तू अब्बा को कुछ क्यों नहीं बोलती हैं, बता क्यों सेहती हैं इतना 😤😤 और जहा गुस्सा सही हो वहा करना चाहिए समझी तभी अली की माँ बोलती हैं_ बेटा सुनो वो देखो आश्मन को अली अपने माँ के कहने पर आशमान मे देखता हैं 👀 अली की माँ तब उससे बोलती हैं_ बताओ क्या दिख रहा जरा बताओ, अली मुँह बनाते हुए बोलता हैं_ आश्मन मे बारिश हो रही हैं और बिजली चमक रही हैं 😒😒 तभी उसकी माँ बोलती हैं_ देखो बिजली हैं तो एक तत्वा लेकिन उसके दो रूप हैं एक मै वो सब बर्बाद कर देती हैं दूसरे मे वो अपने रौशनी से दुखियो का सहारा बनती हैं। वैसे ही तुम्हारा गुस्सा हैं इसे हमेसा सही जगह इस्तेमाल करना जहा जरुरत हो अली बोलता हैं_ माँ तू भी क्या बोलती हैं मुझे कुछ समझ नहीं आ रहा मैंने पूछा कुछ और बोल कुछ और रही। जा मुझे तुझसे कुछ बोलना ही नहीं हैं। फ़्लैशबैक एन्ड. अली बोलता हैं_ अम्मी तब मै तेरी बात नहीं समझा था पर अब समझ आ रहा तू क्या कहना चाहती थी। 🥺 तू उस आदमी को रौशनी देने की कोसिस मे रही हमेसा जिसने हमेसा तुझे तकलीफ और दर्द के सिवा कुछ ना दिया तभी अली अपने सोच मे खोया हुआ था तभी एक बच्चा अली को देख बोलता हैं_ बादशाह ए जीन रेहेम रेहेम फरमाए क्या अली अपने सबको बचा पाएगा?? अली का अतीत क्या हैं आखिर?? अली रौशनी को कैसे जनता हैं?? आज के लिए बस इतना ही आगे जानने के लिए पढ़ते रहिये ROOH-E-ROSHNI like commnet kar dena my sweet lovely readers, warna majburan mujhe next chapter 2 din baad dene pdhege 🥺🥺 Ur siya
अब आगे... अली उस बच्चे को खस्ता और मारता देख फोरन उसे अपने हाथ मे थाम लेता हैं और उसके सीने पर अपना हाथ रख अपनी आँखे बंद कर लेता हैं। अली की ताकतों से वो बच्चा कुछ ही सेकंड मे ठीक हो जाता हैं। वही अली सबकी हालत देखता हैं, तो कहता हैं लोहा लोहे को काटता हैं वैसे ही मेरी ताकतों से जो हो रहा उसे भी मेरी ताकतें ही रोक सकती हैं, अली अपने पहने हुए लिबास से एक खंजर निकलता हैं और उस खंजर से अपने हाथ काट देता हैं, अली के हाथ काटते ही उसके हाथ से खून की जगह लावा बहने लगता हैं, अली के रगो से खोलता हुआ लावा बह रहा था। लावा जैसे ही जहनुम के जमीन पर गिरता हैं, वैसे ही वहा का तापमान जो इतना बढ़ गया था और हर जगह आग ही आग लग रहा था वो लावा के तपन से कम होने लगता हैं। और कुछ ही देर मे जहनुम पहले की तरह normal हो जाता हैं। तभी वही शाही जिन्नी आती हैं और अली को अपने परेशान नज़रो से देखते हुए बोलती हैं_ बादशाह ए जिन्नात वो मलिका, अली जैसे ही फरगाना जी का नाम सुना हैं फोरन उनके पास चला जाता हैं। आगरा, india रौशनी की आँखो मे बेतहासा आँशु थे। वो अपने ददू के जाने के गम मे रो रही थी। सायद रौशनी के अब्बा के बाद सबसे जादा दुख रौशनी को हो रहा हो उसके ददू के जाने का, तभी रौशनी की कजिन आती हैं और रौशनी से बोलती हैं_ रौशनी जो इस दुनिया मे आता हैं उसे एक ना एक दिन जाना ही होता हैं। तुम तो ददू के साथ रही भी नहीं हो लेकिन हम उनके साथ ही खेले और बढ़े हुए हैं। सोचो हमें कितना गम हैं उनके जाने का, तभी रौशनी बोलती हैं_ मुझे हमेसा से अपना घर पसंद था मुझे तो समरकंद कभी जाना ही नहीं था। मुझे तो अपने ददू से दूर भी नहीं जाना था। गम तो इस बात हैं आएसा की ददू के साथ वक्त गुजरने का मौका मुझे कभी मिला ही नहीं ये सब रौशनी अपने भरे गले से बोल रही थी। तभी रौशनी की अम्मी आते हुए बोलती हैं_ रौशनी तुम्हारे अब्बा की नौकरी ही ऐसी थी की हमें वहा जाना पड़ा तभी रौशनी की चची बोलती हैं_ क्यों झूठ बोल रही भाभी आप ये बोलिये ना आपको आज़ादी नहीं मिल रही थी किसी चीज की आपसे कोई काम नहीं होता था घर का, आपने तो अब्बा को भी बहुत कुछ सुनाया हैं और ये हम सब जानते हैं। कुछ खुदा का खौफ खाए अब्बा को गए अभी ठीक से 4 दिन भी नहीं हुए हैं। रौशनी के चची नें जो बोला था वो एक दम सही था और ये बात रौशनी भी कही ना कही मानती थी क्युकी ज़ब उसने अपना घर छोड़ा था तो वो इतनी भी छोटी नहीं थी की उसे कुछ ना पता हो, तभी रौशनी के अब्बा वहा आते हुए बोलते हैं_ रौशनी, हुमरा, अर्सलान, नोशीन सब रेडी हो जाओ हमें समरकंद के लिए निकलना हैं इमरजेंसी हैं इस वक्त, बरकत जी की बात सुन उनके छोटे भाई बोलते हैं_ भईया अब्बा को गए अभी 4 दिन भी नहीं हुए हैं और आप समरकंद जाने की बात कर रहे?? फिर वो हुमरा जी की तरफ देखते हुए बोलते हैं_ भाभी आप ही कुछ समझाये इन्हे, भईया कैसी वाहियाद बाते कर रहे? तभी हुमरा जी बोलती हैं_ भाई अब हम क्या समझाये आपके भईया हमारी कोई बात मानते कहाँ हैं, और गलत लोग हमें समझते हैं। ये बात उन्होंने रौशनी के चची की तरफ देखते हुए बोला था। तभी रौशनी की चची भी जवाब देते हुए बोलती हैं_ पूरा खानदान जनता हैं कौन किसकी बाते मानता हैं और कौन नहीं। हुमरा जी सबकी बातो को अनदेखा कर अपने बच्चो से बोलती हैं_ रौशनी, अर्सलान, नोसिन चले उठे अपना समान बांधे हम सभी को यहाँ से काल निकलना हैं। अर्सलान और नोसिन तो उठ जाते हैं लेकिन रौशनी तस से मस नहीं होती हैं, तभी हुमरा जी रौशनी को घूरते हुए बोलती हैं_ रौशनी हमें. काल यहाँ से निकलना हैं, चलो थोड़ी बहुत पेकिंग करनी हैं कर लेते हैं। तभी रौशनी अपने मायुश आवाज़ मे बोलती हैं_ मै कही नहीं जाऊगी अम्मी, मुझे यही रहना हैं। रौशनी की ये बात सुन वहा खड़े सभी को हैरान रह गए थे। तभी रौशनी की चची अपने मन मन बोलती हैं_ ले नहले पर दहला, हुमरा जी रौशनी की बात सुन बोलती हैं_ रौशनी बच्चे कैसी बाते कर रही हो आप, आप यहाँ कैसे रहोगी और आपकी स्टडी उसका क्या देखिये रौशनी अभी आप तकलीफ हैं इंफेक्ट हम सभी तकलीफ हैं लेकिन इसका. मतलब ये तो नहीं न की जिंदगी छोड़ दे हम तभी रौशनी बोलती हैं_ कौन सी जिंदगी अम्मी, किस जिंदगी की बात कर रही हैं आप जो उन अजनबियों के साथ जीने को बोल रही जिन्हे हिंदी भी नहीं आती हैं, जिंदगी ही जीना चाहती हूँ मै अम्मी अपने मुल्क मे अपने लोगो के साथ, अपने तमीज़ और तेहैजीब के साथ, सही तरबियत के साथ और अब्बा मेरी ग्रेजुएशन इस साल कम्पलीट हो जाएगी, हम पेपर ऑनलाइन दे देंगे उसके आगे की पढ़ाई हम india से करेंगे, इतना बोल रौशनी वहा से जाने लगती हैं तभी बरकत जी बोलते हैं_ रौशनी बेटा लेकिन उन्होंने इतना ही बोला था की रौशनी वहा से जाते हुए बोलती हैं_ आप लोगो को जाना हैं आप सभी जा सकते हैं हमने आप को नहीं रोका और आप सभी से भी हम यही आशा रखते हैं की आप सब भी हमें मजबूर ना करें क्युकी मेरा फ़ैशला बदलने नहीं वाला जहा मेरे ददू बढ़े हुए हैं जहा मेरे अब्बा बढ़े हुए हैं अब मै वही रहूँगी। रौशनी की ये बात सुन उसके अब्बा आगे कुछ नहीं बोलते हैं। वही दूसरी तरफ.. अली फरगाना जी के पास बैठा हुआ था। अली को काफी अफ़सोस था अपने किए पर, फरगाना जी काफी कमज़ोर हो गई थी जिसकी वजह से उन्हें होश नहीं आया था अभी तक तभी अली से जिन्नी बोलती हैं_ बादशाह ए जीन आप भी जाइये आराम करें हम हैं मलिका के साथ। तभी अली बोलता हैं_ तुम फिक्र मत करो मेहेरु, मै अपने अम्मी के साथ ही रहुगा ज़ब तक ये ठीक नहीं हो जाती तुम्हे रुकना हैं तुम रुक सकती हो। इतना बोल अली फरगाना जी के पास ही पूरी रात रुकता हैं। और इस पुरे पहर मे अली की पलके एक बार भी नहीं झपकी थी। आज के लिए बस इतना ही मिलते हैं कल आगे जानने के लिए पढ़ते रहिये ROOH-E-ROSHNI like commnet kar dena my sweet lovely readers, warna majburan mujhe next chapter 2 din baad dene pdhege 🥺🥺 Ur siya